दुर्गा पूजा कितने तारीख को है 2022 / Durga Puja Date 2022 :
दुर्गा पूजा को माँ दुर्गा के द्वारा दुष्ट राक्षस महिषासुर पर विजय प्राप्ति की खुशी में हर्षौल्लास के साथ मनाया जाता है, इसलिए माँ को दुर्गतनाशिनी (भक्तों के संरक्षक) के रूप से जाना जाता है और पूजा भी जाता है। ये पूजा बहुत से सहरो में मनाया जाता है परंतु बंगाल, असम और ओडिशा में यह पूजा, पूजो के रूप में प्रख्यातित है।
महालया से उत्सव शुरू होती है, इस दिन से मूर्तियों का निर्माण कार्य शुरू हो जाता है। पर वास्तविक पूजो महा षष्ठी, महा सप्तमी, महा अष्टमी, महा नवमी और विजयदशमी के रूप में भी परिभाषित की गयी है। दशहरे के दिन ही माँ दुर्गा की प्रतिमा के विसर्जन के साथ - साथ दुर्गा पूजा का भी समापन हो जाता है।
नवरात्रि उत्सव के आठवें दिन को दुर्गा अष्टमी के रूप में लोकप्रिय रूप से मनाया जाता है। दुर्गा पूजा के शेष पांच दिन षष्ठी, सप्तमी, अष्टमी, नवमी और अंत में, विजयदशमी या दशहरा हैं। आठवें दिन महिषासुर, राक्षस का वध करके देवी दुर्गा जी ने जीत हासिल करी थी ।
इस दिन, सारे भक्त लोग उपवास रखते हैं और अस्त्र पूजा करते हुए देवी से प्रार्थना करते हैं। इस शुभ दिन को पंडालों में जाने और दोस्तों और परिवारों के साथ आनंद लेने के साथ चिह्नित किया जाता है, महामारी ने सभी की अपनी योजनाओं को बदल दिया है। हालांकि, इससे आपके हौसले पस्त नहीं होंगे।
पश्चिमी बंगाल की दुर्गा पूजा को 15 दिसंबर 2021 को UNSCO में मानवता द्वारा अमूर्त सांस्कृतिक विरासत की सूची में शामिल किया गया था। दुर्गा पूजा की यह विशेषता इस पर्व के लिए ही नहीं अपितु संपूर्ण भारत के लिए गर्व का विषय है।
दुर्गा पूजा महत्व विधि :
दुर्गा पूजा महा षष्ठी, महा सप्तमी, महा अष्टमी, महा नवमी और विजयदशमी इन पाँच दिनों तक मनाया जाता है।
महा षष्ठी : दुर्गा पूजा का पहला दिन :
1 अक्टूबर 2022 ( शनिवार )
विधि - बिल्व निमन्त्रण, कल्पारम्भ
अकाल बोधन, आमन्त्रण और अधिवास ||
महा सप्तमी : दुर्गा पूजा का दूसरा दिन
2 अक्टूबर 2022 ( रविवार )
विधि - नवपत्रिका पूजा, कलाबोऊ पूजा ||
महा अष्टमी : दुर्गा पूजा का तीसरा दिन
3 अक्टूबर 2022 ( सोमवार )
विधि - दुर्गा अष्टमी, कुमारी पूजा, सन्धि पूजा ||
महा नवमी : दुर्गा पूजा का चौथा दिन
4 अक्टूबर 2022 ( मंगलवार )
विधि - महा नवमी, दुर्गा बलिदान, नवमी हवन ||
विजयदशमी : दुर्गा पूजा का पांचवा दिन
5 अक्टूबर 2022 ( बुधवार )
विधि - दुर्गा विसर्जन, विजयदशमी, सिंदूर खेला ||
1. दुर्गा पूजा की शुभकामनाएं! आपके जीवन में शांति, समृद्धि और शक्ति की कामना करता हूँ!
2. यह दुर्गा पूजा का रंग बिरंगा त्योहार आप सभी के जीवन में खुशियां लेकर आए।
3. आप सभी लोगो को सुख और समृद्धि से भरी एक प्यारी सी दुर्गा पूजा की शुभकामनाएं।
4. मुझे उम्मीद है कि यह दुर्गा पूजा आपके लिए मजेदार और खूबसूरत पलों से भरी पड़ी हो। माँ दुर्गा आपको उत्तम स्वास्थ्य, समृद्धि और आनंद प्रदान करें।
5. मेरे जीवन में तुम्हारा होना सबसे बड़ा आशीर्वाद है। इसी आशीर्वाद से मैं हर साल मां दुर्गा जी का शुक्रिया अदा करता हूं। मेरे सभी प्रिय को दुर्गा पूजा की शुभकामनाएं!
6. जिंदगी की हर इच्छा हो पूरी कोई भी इच्छा ना रहे अधूरी करते है दोनों हाथ जोड़कर माँ दुर्गा जी से बिनती की आपकी सभी मनोकामनाए हो पूरी
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